नायब तहसीलदार खेकडा जिला बागपत द्वारा न्यायिक कार्य नियमानुसार न करने के बारे में एक शिकायत पत्र मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को लिखा
मौहम्मद इल्यास-’’दनकौरी’’/बागपत
नायब तहसीलदार खेकडा जिला बागपत द्वारा न्यायिक कार्य नियमानुसार न करने के बारे में एक शिकायत पत्र मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को लिखा गया है। करीब 90 वर्षीय बुजुर्ग हरीनिवास त्यागी पुत्र श्री रामचन्द्र त्यागी मूल निवासी ग्राम रावण उर्फ बडागाँव तह० खेकडा जिला बागपत हाल निवासी 471 प्रीत बिहार कस्बा मुरादनगर तह० मोदीनगर जिला गाजियाबाद ने मुख्यमंत्री को लिखे पत्र अवगत कराया है कि श्रीमान जी, निवेदन यह है कि प्रार्थी एक 90 वर्ष का बुजर्ग व्यक्ति है प्रार्थी का खसरा नं. 327/2 रकबा 1.6645है0 स्थित गौजा रावण उर्फ बडागाँव तहसील खेकडा जिला बागपत का संकगणीय भूमिधर व काबिज हैं। दुष्यन्त त्यागी उर्फ मन्नू पुत्र मंगत राम त्यागी निवासी ग्राम सुल्तानपुर सै० नं० 128 नोएडा जिला गौतमबुद्ध नगर डा० अमेठी युनिर्वासिटी सं० 125 नोएडा जिला गौतमबुद्ध नगर एक बहुत ही चालक किस्ग का व्यक्ति है दुष्यन्त त्यागी ने प्रार्थी को गुमराह करके उक्त भूमि में से कुछ भूमि का बैनामा अपने नाम करा लिया था तथा जिसका उचित प्रतिफल प्रार्थी को प्राप्त भी नहीं हुआ था तथा उक्त बैनामे के आधार पर दुष्यन्त त्यागी ने न्यायालय तहसीलदार खेकडा वाद सं० टी-2016110802919 दुष्यन्त त्यागी बनाम हरिनिवास त्यागी अ०धारा 34 मौजा रावण उर्फ बडागाँव में दाखिल खारिज के लिए दिनांक 21.09.2016 को आदेश पारित करा लिये थे। प्रार्थी को उक्त आदेश दिनांक 21.09.2016 को ज्ञात हुआ तो प्रार्थी ने उक्त आदेश को निरस्त कराने हेतू एक नम्बर साबिक प्रार्थना पत्र मान्य न्यायालय तहसीलदार खेकड़ा के यहां पर दायर किया उक्त वाद हरिनिवास त्यागी बनाम दुष्यन्त त्यागी वाद सं0 201811080200796 पर दर्ज हुआ तथा उक्त नम्बर साबिक प्रार्थना पत्र मे दिनांक 10.01.2024 में आदेश पारित हुये आदेश दिनांक 10.01.2024 में अपने आदेश मे मान्य न्यायालय तहसीलदार ने अपने आदेश दिनांक 10.01.2024 में यह उल्लेख किया कि पंजीकृत बैनामे के आधार पर पारित एक पक्षीय आदेश दिनांक 21.09.2016 निरस्त कर वाद मूल नम्बर पर पुनः स्थापित किया जाता है तथा पुनः देहन्दा पक्षकार हरिनिवास त्यागी पुत्र रामचन्दर त्यागी निवासी ग्राम रावण उर्फ बडागाँव हाल निवासी 471 प्रीति बिहार कस्बा मुरादनगर तहसील मोदीनगर जिला गालिजयाबाद को आपित्त एवं साक्ष्य / सुनवाई का अवसर प्रदान किया जाता है। उक्त आदेश कि फोटो कॉपी प्रार्थी के इस शिकायत पत्र के साथ संलग्न है। इसके बाद उक्त वाद सं० 2016110802919 की पत्रावली मान्य न्यायालय तहसीलदार ने नायब तहसीलदार खेकडा के यहा पर स्थानान्तरित कर दी। उक्त पत्रावली को प्राप्त होने के बाद मान्य नायब तहसीलदार खेकडा ने किसी भी पक्षकारों को कोई भी सूचना/नोटिस प्रेषित नहीं किये है। तथा अपने गनमाने तरीके से उक्त मूल वाद मूल नम्बर टी-2016110802919 की जगह दुसरा वाद वाद सं० टी-2016110802773 पर उक्त वाद की कार्यवाही शुरू कर दी तथा प्रार्थी को सूचना वाद के सम्बंधित नहीं दी गयी सबसे पहले उक्त दुसरे वाद सं० टी- 2016110802773 कर दिनांक 6.03.2024 तारीख नीयत की गयी उसके बाद 13.03.2024 व 20.03.2024 व 27.03.2024 व 03.04.2024 में पत्रावली पेश होनी बतायी गयी इस बात का पता प्रार्थी के अधिवक्ता को पत्रावली का मुआयना करने के बाद पता. चला 03.04.2024 को प्रार्थी व प्रार्थी के अधिवक्ता को उक्त पत्रावली के बारे मे जानकारी हुई तो उन्होने उक्त पत्रावली पर प्रार्थी के अधिवक्ता ने अपना वकालत नामा पेश किया तथा उक्त पत्रावली पर अपनी आपत्ति दाखिल करने का समय प्रदान करने का अनुरोध किया तथा साथ ही पूर्व मे पारित आदेश दिनांक 10.01.2024 के अनुपालन हेतू 1000/-रू० हर्जे के जमा करने हेतू समय मांगा तथा मान्य न्यायालय नायब तहसीलदार से अनुरोध किया कि उक्त 1000/-रू० किस तरह से प्रार्थी को जमा करने है प्रार्थी उक्त 1000/-रू० जमा करने को तैयार है। प्रार्थी को मान्य न्यायालय ने 1000/-रू० जमा करने का कोई भी अवसर प्रदान नही किया तथा 03.04.2024 को अगली नियत तारिख 08.04.2024 की प्रार्थी को वास्ते आपत्ति अन्तिम अवसर प्रदान कर दीया प्रार्थी के अधिवक्ता ने मान्य नायब तहसीलदार से अनुरोध किया की पहले आप हर्जे के 1000/-रू० जमा करा ले फिर हम अपनी आपत्ति दाखिल कर देगे परन्तु मान्य न्याब तहसीलदार खेकडा के प्रार्थी के अधिवक्ता की कोई भी बात नहीं मानी तथा 08.04.2024 तक प्रार्थी को आपत्ति दाखिल करने का अंतिम अवसर प्रदान कर दिया। दिनांक 08.04.2024 को 11:30 बजे नायब तहसीलदार साहब के यहाँ पत्रावली पेश होने पर प्रार्थी के अधिवक्ता ने मान्य न्यायालय से अनुरोध किय कि मेरी तबीयत खराब होने के कारण अभी आपत्ति दाखिल नही कर सकती हूँ कुछ देर बाद आपत्ति दाखिल कर दूंगी मेरी आपत्ति अभी टाईप हो रही है। कुछ समय बाद प्रार्थी के अधिवक्ता अपनी आपत्ति तैयार करके मान्य नायाब तहसीलदार की कोर्ट में हाजिर हुये तो कोर्ट का ताला लगा हुआ मिला प्रार्थी के अधिवक्ता द्वारा नायब तहसीलदार महोदय से इस बाबत फोन के माध्यम से जानकारी चाही तो नायब तहसीलदार सहाब ने कहा कि आप अपनी आपत्ति कम्पूटर ऑपरेटर ब्रजमोहन को दे देना प्रार्थी के अधिवक्ता ने ब्रजमोहन को अपनी आपत्ति दे दी तथा अगली तिथि के बारे में पूछा तो ब्रजमोहन ने बताया की पत्रावली मेरे पास नही है तथा मैं आपको अगली तिथि भी नहीं बता सकता हूँ। आपको अगली तिथि की जानकारी बाद में कोर्ट में ही मिल जायेगी। 10.04.2024 को प्रार्थी के अधिवक्ता अग्रिम तिथि वास्ते मान्य नायब तहसीलदार की कोर्ट गये तो नायब तहसीलदार ने प्रार्थी के अधिवक्ता के कहाँ कि आप की तारीख आज ही है आज ही वादी भी आपकी आपत्ति पर प्रति आपत्ति दाखिल कर देगा तथा आज ही आप बहस कर दो प्रार्थी के अधिवक्ता ने बहस करने से मना किया तथा मान्य नायब तहसीलदार को बताया कि अभी वादी की प्रति आपत्ति आनी है। तथा फिर वादी को अपने प्रार्थना पत्र के समर्थन में मौखिक व दस्तावेजी साक्ष्य दाखिल करने है तथा फिर प्रार्थी को भी अपनी आपत्ति के समर्थन में अपना मौखिक व दस्तावेजी साध्य दाखिल करना है तथा पूर्व में पारित आदेश दिनांक 10.01.2024 के अनुपालन के भी प्रार्थी को साक्ष्य व सुनवाई का पूर्ण अवसर देने के लिये कहा गया है। इसलिये आज आप उक्त पत्रावली को वादी के साक्ष्य हेतू तारीख नियत कर दी तथा वादी के साक्ष्य के बाद प्रार्थी अपनी आपत्ति के समर्थन मे साक्ष्य दाखिल करेगा परन्तू नायब तहसीलदार खेकडा ने दिनांक 10.04.2024 को ही बहस करने हेतू प्रार्थी के अधिवक्ता पर दबाव बनाया तथा कहा कि अगर आपको: बहस करनी है तो कर दो नहीं तो में पत्रावली पर आज ही आदेश पारित कर दूंगी। वादी व आपत्ति कर्ता का कोई भी साक्ष्य का प्रावधान नहीं है 10.04.2024 को मान्य नायब तहसीलदार ने प्रार्थी के अधिवक्ता को ना तो पत्रावली का मुआयना करने दिया तथा ना ही प्रार्थी व अधिवक्ता के हस्ताक्षर पत्रावली पर कराये तथा मौखिक रूप से ही उक्त बाद में 15.04.2024 की अग्रिम तारीख बता दी तथा मान्य में यह भी बताया कि 15.04.2024 को मैं कोर्ट नहीं करूंगी क्योकि मेरी चुनाव प्रकिया में दूयूटी लगी हैं। 16. 04.2024 को राम नवमी का अवकाश होने के कारण प्रार्थी 19.04.2024 को लगभग 2 बजे अपने अधिवक्ता से मिला तथा उक्त वाद में अपनी तारीख जाननी चाही तो प्रार्थी के अधिवक्ता ने फोन के माध्यम से नायब तहसीलदार खेकडा से तारीख मालूम की तो नायब तहसीलदार सहाब ने प्रार्थी के अधिवक्ता को बताया की उक्त बाद में 03.05.2024 की तिथि लगी है 10.04.2024 के पश्चात प्रार्थी को मान्य नयाब तहसीलदार से कोई भी न्याय की उम्मीद नही रही थी। तथा वादी दुष्यन्त त्यागी भी उक्त वाद को अपने पक्ष मे कराना चाहता था तथा वादी उक्त दुष्यन्त त्यागी को प्रार्थी ने नायब तहसीलदार महोदय व कर्मचारी से मिलते हुये भी देखा था तथा दुष्यन्त त्यागी ने शोहरत भी कर रखी थी कि हमारी नायब तहसीलदार महोदय व कर्मचारीयो से बात हो गयी है उक्त पत्रावली मे आदेश हमारे ही हक मे पारित किया जायेगा। इस प्राकर प्रार्थी को मान्य नायब तहसीलदार सहाब से कोई भी आशा निष्पक्ष न्याय की नहीं था इस लिये प्रार्थी ने उक्त वाद को स्थान्तरण हेतू न्यायालय उपजिलाधिकारी महोदय खेकडा मे यहाँ स्थान्तरण का प्रार्थना पत्र 15.04.2024 के पोजित कर दिया था जो अभी भी न्यायालय उपजिलाधिकारी की कोर्ट में विचाराधीन है। 15.04.2024 के स्थान्तरण प्रार्थना पत्र मान्य न्यायालय मे देने के पश्चात तथा नायब तहसीलदार महोदय ने तलबी व्यक्तिगत रूप से 19.04.2024 में प्राप्त करने के पश्चात उक्त वाद मे 18.04.2024 को मनमाने तरीके से आदेश पारित कर दिये हैं। उक्त आदेश नायब तहसीलदार खेकडा ने न्यायिक कार्य सुचारू रूप से ना करते हुये बैंक तारीख में पारित किये गये है। तथा अपने आदेश 18.04.2024 को मनमाने तरीके से नये स्थापित वाद सं० टी- 2016110802773 पर किया है तथा वाद सं० टी० 201811080200796 में पारति आदेश दिनांक 10.01.2024 का कोई अवलोकन नहीं किया गया है। इसके अलावा जब प्रार्थी के स्थान्तरण प्रार्थनापत्र के आधार पर श्रीमान उपजिलाधिकारी खेकडा द्वारा नायब तहसीलदार खेकडा से पत्रावली वाद सं० टी- 201611082919 दुष्यन्त त्यागी बनाम हरीनिवास त्यागी अ० धारा 34 मौजा रावण उर्फ बडागाँव मगायी गयी तो उक्त पत्रावली के साथ कवरिंग लेटर पर भी गलत तरीके से तारीख लिखी गयी है जिससे यह साबित होता है कि उक्त पत्रावली में कार्यवाही जल्दबाजी व आन्न फान्न मे कि गयी है। अतः श्रीमान जी से प्रार्थना है कि उक्त शिकायत प्रार्थना पत्र मे दर्ज लिखित कथन व साथ में लगे कागजात के आधार पर नायब तहसीलदार खेकडा के खिलाफ उचित कानूनी कार्यवाही की जाये। आपकी अति कृपा होगी।
शिकायत पत्र की प्रतियां मुख्यमंत्री के अलावा नरेन्द्र कश्यप मान्य राज्य मंत्री उ०प्र० राज्य सरकार, अध्यक्ष राजस्व परिषद उत्तर प्रदेश,आयुक्त महोदय मेरठ मण्डल मेरठ,जिलाधिकारी महोदय बागपत और उपजिलाधिकारी तह० खेकडा जिला बागपत को डाक के जरिए भेजी गई हैं।